अवयस्कों द्वारा किए अनुबंधों के संबंध में नियम
भारत में अवयस्कों द्वारा किए अनुबंधों के संबंध में निम्न सामान्य नियम हैं: (1) एक अवयस्क के साथ या उसके द्वारा […]
भारत में अवयस्कों द्वारा किए अनुबंधों के संबंध में निम्न सामान्य नियम हैं: (1) एक अवयस्क के साथ या उसके द्वारा […]
सक्षम पक्षकार भारतीय संविदा अधिनियम की धारा 10 के अनुसार ‘सभी ठहराव अनुबंध होते हैं यदि वे अनुबंध करने के सक्षम
प्रतिफल के बिना, अनुबंध व्यर्थ होंगे। अतः प्रतिफल एक वैध अनुबंध की एक जरूरी विशेषता है। प्रतिफल के बिना संव्यवहार शर्तों
‘प्रतिफल’ से संबंधित नियम (अनिवार्यताएं) निम्न हैं: (1) वचनकर्ता की इच्छा पर एक प्रतिफल जिसमें एक फार्म या विरत रहना शामिल
साधारण भाषा में शब्दावली ‘प्रतिफल’ का अर्थ कुछ अन्य चीज को प्राप्त करने के लिए बदले में दी गई कोई चीज
स्वीकृति का अर्थ कोई भी ऑफर या प्रस्ताव इस इरादे से रखा जाता है कि स्वीकृति उसके उद्देश्य या लक्ष्य
प्रस्ताव से सम्बन्धित निम्न कानूनी नियम बहुत महत्त्वपूर्ण हैं: ( 1 ) प्रस्ताव को कानूनी संबंधों को स्थापित करने के
भारतीय संविदा अधिनियम में शब्द ‘प्रस्ताव’ को ‘ऑफर’ के लिए प्रयोग किया गया है। भारतीय संविदा अधिनियम की धारा 2(a)
अनुबंधों को मोटे तौर पर निम्न तरह वर्गीकृत किया जा सकता प्रवर्तनीयता के आधार पर (1) वैघ अनुबंध : अनुबंध को
व्यावसायिक विधि का प्रमुख आधार ‘अनुबंध’ है। सभी व्यावसायिक गतिविधियाँ दो पक्षकारों के बीच में ठहरावों से उत्पन्न होती हैं। कानूनी ठहराव